Dehradun– दालचीनी का सामान्य इस्मतेमाल मसालों के रूप में प्रयोग किया जाता है। यह पाचक होता है और इसकी मधुर खुशबू दिमाग को आराम पहुँचाती है।
अगर अपच हो जायें तो 2 ग्राम छाल के चूर्ण को दिन में 2 बार पानी से लें।
भूख न लगना पर 2 ग्राम दालचीनी तथा अजवायन बराबर मात्रा में लेकर तीन भाग कर भोजन से पूर्व चबाएँ।
उल्टी के लिए 1 से 2 ग्राम चूर्ण को तीन बराबर भाग में कर शहद से दिन में 3 बार लें।
सिर दर्द और तनाव के लिए पानी में रगड़ कर माथे पर लेप करें।
दिमागी तनाव के लिए छाल को मसल कर रूमाल अथवा तकिए में रखें।
सूखी खांसी के लिए दालचीनी को चबाने से सूखी खांसी में आराम मिलता है।
“धनियाँ”
खांसी और जुकाम में 3 ग्राम धनिया चूर्ण का काढ़ा बनाकर थोड़ी मिश्री एवं हल्दी चूर्ण डालकर दिन में 3 बार लें अथवा धनिया चूर्ण की चाय बनाकर नित्य प्रातः काल लेने से सदर्दी जुकाम तथा पाचन सम्बन्धी विकार में लाभ होता है।
पेट के कीड़े के लिए 2-3 ग्राम पूर्ण को गुड़ के साथ दिन में 2 बार 5 दिन लगातार लें।
लू लगने तथा शरीर में पानी की कमी होने पर
धनिये चूर्ण का काढ़ा बनाकर मिश्री और एक चुटकी सेंधा नमक के साथ बार-बार पीएं।
अगर अपच हो तो 3 ग्राम चूर्ण का 20 मि.ली. क्वाथ तथा चुटकी भर अदरक चूर्ण दिन में 3 बार लें।
बुखार होने पर 3 ग्राम चूर्ण का क्वाथ बनाकर 20 मि.ली. की मात्रा में थोड़ी मिश्री डालकर दिन में 3-4 बार लें।